ये 10 काम सीखें और पाएं जीवन के हर क्षेत्र में सफलता
प्यारे दोस्तों सबसे पहले तो हम आपको या सलाह दे रहे की आपको अपनी ऐसी आदत बनाना जरूरी है की हर एक से कुछ न कुछ सीखों। कौशल और कला
को हुनर भी कह सकते हैं। बड़ो का तो यह भी कहना है कि हुनर है तो कदर है। हुनरमंद को स्किल्ड मेन कहते हैं। ज्यादातर लोग जिंदगी में फालतू की बातें सीखते रहते है। हालांकि हमे हर तरह का कार्य सीखना जरूरी है, अगर हम अपनी जिंगदी में हर क्षेत्र में सफलता पाना चाहते है। अगर कोई भी व्यक्ति किसी कार्य का अभ्यास लगातार कर रहा हैं, तो उसे सरलतापूर्वक करना सीख जाता है। अगर हम लोग सीखे हुए कार्य का अभ्यास नहीं कर रहे है तो उसको जल्द ही भूल जाते हैं। हालांकि कुछ कार्य ऐसे होते हैं जिन्हें हम कभी भी नहीं भूलते। तो चलिए जानते हैं कि हमें क्या-क्या सीखना चाहिए जो हमारी जिंदगी में अधिकतर काम आता है और जिसकी सहायता से हम अपनी जिंदगी में एक सफल मनुष्य बन सकते हैं ।
1.
तैरना
और
कार
चलाना
: अधिकतर इंसान अपने निजी कार्यो में व्यस्त होने के कारण से तैरना और कार चलाना नहीं सिख
पाते और बहुत से लोग ये कार्य करना जानते हैं
। ज़्यदातर ऐसा ही है कि शहर के बहुत से इंसान ऐसे होते है जो तैरना नहीं जानते तो गांव के लोग कार चलाना नहीं जानते। हालांकि आज के समय में गांव में भी विकास की धारा बढ़ चली है तो निश्चित ही वे भी अब कार चलाना सीख रहे हैं। प्यारे दोस्तों, तैराकी का बहुत बड़ा महत्व है। तैराकी मांसपेशियों और मस्तिष्क के लिए एक टॉनिक की तरह है। गांव में निवास करने वाले लोग तैरने में उस्ताद है। सिर्फ तैराना सीखने से ही काम नहीं चलेगा बल्कि सभी कार्य करने होंगे जिन कार्यो को हम यहां बताने जा रहे है। तैरना भी एक कला है। जिसमें पारंगत होना बहुत आवश्यक है। उसी प्रकार से सिर्फ कार चलाना सीखना ज्यादा इम्पोर्टेन्ट नहीं है बल्कि उसकी हर आवश्यक बातों को सीखना भी जरूरी है। ये दोनों ही कार्य मनुष्य के जीवन में बहुत काम के होते हैं।
तैरना
और
कार
चलाने
का
आनंद
भी
अगल
सा
है।
2.
भाषा
और
गणित:
प्यारे दोस्तों भाषा और गणित ऐसी चीज है जो जीवन के सभी क्षेत्रो में बसा हुआ है। इन दोनो के बिना तो जीवन में कोई काम आसानी से नहीं हो पाता । घरेलू कामों में हिसाब-किताब करने की बात आय तो भी, दुकानों में जोड़-घटाने की बात आय तो भी, राष्ट्र की अर्थ व्यवस्था, निर्माण कार्य या फिर अंतरिक्ष के अभियानों की बात आय तो भी, हर जगह गणित देखने को मिलता है। उसी प्रकार अगर तुम भाषा को अच्छे से बोलना नहीं जानते हैं तो आप पिछड़े वर्गो में गिने जाने लगोगे । गणित एक ऐसा सब्जेक्ट है जो इंसान के दिमाग को शक्तिशाली बनाने में मदद करता है । दुनिया में भाषा और गणित के दम पर ही लोग अपनी रोजी रोटी चला रहे हैं। इस संसार में बहुत से लोग ऐसे पाए जाते है जो अपनी खुद की भाषा का भी ज्ञान प्राप्त करने में असफल होते है। हे दोस्तों, बोलना और भाषा का ज्ञाता बनना दोनों अलग - अलग बाते हैं। बहुत बड़ा भाषा ज्ञानी बनने की आवस्यकता नहीं, लेकिन आपकी बोलचाल की भाषा सभ्य और शुद्ध होना बहुत ही जरूरी है जिसके कारण से आप अजनबी इंसानो का भी दिल जीत लोंगे। कुल मिलाकर तुमको कम से कम अन्य दो भाषाओं का ज्ञाता बनना चाहिए । कयोकि भाषा ऐसी चीज है जो भविश्य में कभी भी काम आ सकती है।
आज के समय में बहुत से व्यक्ति देश-विदेश में कहीं घुमने या काम करने के लिए जाते है । इसलिए अपनी भाषा से अलग भी दूसरी भाषा सीखना जरूरी है जो जीवन में बहुत साथ देती है। भाषा के साथ ही अच्छी संवाद प्रक्रिया तभी हो सकती है जब आप अच्छे विचार रखते हो और दुसरो के साथ अच्छा व्यवहार करते हो। विचारवान बनने के लिए शब्द ज्ञान में इम्प्रूव भी करना आवश्यक होता है।
दूसरा है पूर्णरूप से गणित का ज्ञान। आज का युग केलकुलेटर और कंम्प्यूटर का युग है और इस युग में लोगों का गणित अब अंगुलियों से भी फिसल जा रहा है। दोस्तों, पहले लोगो का गणित बहुत ही अच्छा होता था वे दिमाग में सोचकर ही तुरंत ही जोड़-घटाव कर एकदम जवाब भी दे देते थे। उसी समय के कुछ लोग गणित में थोड़े कमजोर होते थे लेकिन वे भी अंगुलियों पर जोड़-घटाव कर लेते थे। अगर उस दौर के हिसाब से देखा जाए तो आज कल के ज्यादातर लोग ऐसा करने में योग्य नहीं हैं।
3.
संगीत
सीखें: दोस्तों संगीत एक ऐसी चीज है जो मनुष्य के हृदय को बहुत शांति पहुँचता है। इसमें तीन कलाओं का समावेश है- पहला (गायन), दूसरा (वादन) और ट्सरा (नृत्य)। संगीत से जुड़ने से केवल इंसान के दिमाग का विकास ही नहीं होता बल्कि इंसान को शांति और खुशी भी मिलती है। जिन इंसानो को गीत और संगीत की विधा होती है वे दुख या संकट के समय भी कम दुखी होते हैं क्योकि वे संगीत का वादन कर अपने हृदय को शांत कर लेते है । संगीत संजीवनी है। संगीत वह है जो विद्या सहित्य और कला के अंतर्गत आती है। काव्य, संगीत, चित्रकला, नाटक, अभिनय, मूर्तिकला, वास्तुकला आदि कई प्रकार की कलाएं होती है। अपनी - अपनी रुचि के अनुसार आपको ये सीखना चाहिए लेकिन यह निर्णय
करना बहुत आवश्यक है कि इसे सीखकर आप क्या करोगे और आप क्यों सीखना चाहते हो । इससे आपको क्या लाभ आदि। दोस्तों यह जरूरी नहीं है कि संगीत की विधिवत शिक्षा लें। कोई-सा भी एक वाद्ययंत्र बजाना सीख लें जो भी आपको अच्चा लगता हो। कुछ ऐसे वाद्ययंत्र होते है जिनके बजाने या गुनगुनाने से मस्तिष्क और हृदय को आनंद मिलता है और बेसहारा या मजबूर इंसान को फिर से जीने का मकसद मिल जाता है।
सबसे पहले संगीत का प्रसार ब्रह्मा ने सरस्वती के और सरस्वती ने नारद के द्वारा किया। फिर नारद ने भरत को और भरत ने (नाट्यशास्त्र) के माधय्म से जनसाधारण में संगीत का प्रचार किया। संगीत का विस्तार सामवेद पाया जाता है। भारतीय संगीत मुख्य दो प्रकार के होते हैं-
1.शास्त्रीय संगीत
2.भाव संगीत। शास्त्रीय संगीत के कई प्रकार है उसी तरह भाव संगीत ३ प्रकार के होते हैं-
1.फिल्मी संगीत
2.लोकगीत
3.भजन और गीत।
4.
भाषण
देना
और
सुनना: जीवन में सफल व्यक्ति बनने के लिए भाषण देना और सुनना एक मह्त्वपूर्ण बात है। भाषण देने से कहीं ज्यादा उसको सही से सुनना इंसान के लिए जरूरी होता है। भाषण के स्थान पर आप प्रवचन भी रख सकते हो। दोस्तों इंसान के व्यक्तित्व और उसकी सफलता में भाषण कला का बहुत योगदान होता है। अच्छा वक्ता ही सफल बनता है। बुजुर्गो ने कहा भी हैं कि बोलने वाले का खराब गुढ़ भी बिक जाता है और गूंगे का गुढ़ कितना ही अच्छा हो आखिरकार खराब हो ही जाता है। अच्छे से बोलना और भाषण देना बहुत कठिन कार्य नहीं है। थोड़े से प्रयास से ही इन कलाओ को आसानी से हासिल किया जा सकता है। आपके दिमाग में यह चल रहा होगा कि बोलना सीखने का क्या मतलब? इसलिए नीचे पढ़े बोलने के सही तरीके।
प्यारे दोस्तों बोलने के कई तरीके हैं जैसे -
ऊंचे स्वर में बोलना, तेजी से बोलना, गुर्राते कर बोलना, धीरे- धीरे बोलना, गंभीर और संतुलित स्वर में बोलना, अत्यंत ही धीरे स्वर में बोलना, हंसते हुए बोलना, उदास होकर बोलना आदि ।
बहुत से लोगों के बीच बोलना या किसी एक मनुष्य के साथ बात करना बहुत महत्वपूर्ण विद्या है। बहुत से लोगो ऐसे होते हैं जो सिर्फ हां या ना ही करते है वो खुलकर बात नहीं कर सकते और बहुत से इंसान तो ऐसे होते हैं जो बोलते ही नहीं वे चुप चाप दुसरो की बातो को सुनते है लेकिन कुछ लोग ऐसे होते है जो हमेशा बोलने के लिए तैयार रहते हैं। वे वाचाल किस्म के होते हैं। दोस्तों जिस तरह बोलना एक कठिन प्रक्रिया है उसी तरह किसी की बातों को धैर्य पूर्वक सुन्ना और उसको समझना उससे भी ज्यादा कठिन प्रक्रिया है। संसार में कुछ लोग ऐसे होते है जो सुनकर भी समझ नहीं पाते, कुछ लोग सुनते वक्त अपना ध्यान कहीं ओर रखते हैं और कुछ लोग सुनने से पहले ही बोलने लगते हैं। ऐसा नहीं करना चाहिए, व्यक्ति को दूसरे की बात ध्यान से सुन्नी चाहिए और सोच समझकर उसका निर्णय देना चाहिए।
5. पढ़ना, पढ़ाना और लिखना सीखें: अगर हम पढ़ेंगे तभी तो पढ़ा पाएंगे और अगर इन दोनों में योग्य है तो लिखना भी सीखें। दोस्तों एक डायरी तैयार करो और उसमें अपने विचार या अपने से समबंधित घटनाए लिखे। सभी प्रकार की किताबें पढ़ने का शौक होना बहुत जरूरी है। केवल किताब ही ऐसी होती है जो जीवन की सच्ची साथी होती है जिनके द्वारा हमें बहुत कुछ सीखने को मिलता है। पढ़ने और पढ़ाने से जीवन में बहुत अच्छा अनुभव हो जाता है । आप भले ही एक अध्यापक न बनना चाहते हों, लेकिन आपको अपने बच्चों या अन्य किसी को शिक्षा देने के लिए यह सीखना जरूरी होता है। दोस्तों किसी को पढ़ाना भी एक बड़ी कला है। जिससे जीवन में सफल व्यक्ति बनने का बड़ा अवसर मिलता है।
6. सीखें नई तकनीक: बहुत से ऐसे लोगों होते है जिन्हे कंप्यूटर, मोबाइल, वॉशिंग मशीन या टीवी का रिमोट ही नहीं चलाना आता। हालांकि बहुत से ऐसी चीजें होती है जो इंसान खुद आगे रहकर नहीं सीखना के प्रयास नहीं करते क्योंकि उन्हें पता होता हैं कि यह घर में उपलब्ध ही है तो कभी भी सीख लेंगे। लेकिन कुछ समय ऐसा होता है जिसमे ऐसी वस्तुएं मिल जाती है जिनको चलाने के बारे में आप सोच भी नहीं सकते, अगर आपको छोटी- मोटी चीजें संचालित करना नहीं आता है तो। जैसे -
आपने कभी मोटरसाइकल को चलाना नहीं सीखा है तो आप कार का स्टायरिंग पकड़ने की हिम्मत भी नहीं करेंगे।
7. सोचना सीखना: आपके दिमाग में यह सवाल उठ रहा होगा कि सोचना या विचार करना सीखने की क्या जरूरत, यह तो इंसान बचपन से ही करता आया है और इसमें सीखने जैसी क्या बात है? दरअसल, सोचना एक ऐसी प्रक्रिया है जो बहुत ही कठिन है। दोस्तों सोचने के अलग -
अलग तरीके होते हैं जीन पर अमल करना बहुत जरूरी है अगर हमे अपने जीवन में सफलता प्राप्त करनी है। प्यारे दोस्तों इंसान के दो मष्तिष्क होते हैं पहला भाव मस्तिष्क है और दूसरा गणितीय मस्तिष्क। ज्यादातर इंसान बिना सोचे -
समझे भावों में बहकर बोल देते हैं ऐसा भाव मस्तिष्क के कारण ही होता है। इंसान
की सोच
इस प्रकार
भी होती
है जैसे
-
सोचने का पहला तरीका: मैं बुरा व्यक्ति नहीं बनना चाहता हूं।
सोचने का दूसरा तरीका: मैं अच्छा व्यक्ति बनना चाहता हूं।
ऊपर दिए गए दोनों प्रश्नो में से पहला तरीका नकारात्मक है और दूसरा तरीका सकारात्मक है। हर काम के बारे में सोचने का तरीका अलग होता है। इंसान के शरीर पर उसकी सोच का बहुत गहरा प्रभाव पड़ता है इसीलिए सोचने पर सोचना जरूरी है सभी के लिए. नकारात्मक सोच के साथ इंसान कभी भी सफल वयक्ति नहीं बन सकता।
8. समय और धन को बचाना सीखें: बहुत से काम ऐसे होते है जिनमे आप फालतू का समय बर्बाद कर देते हैं। समय अमूल्य होता है अगर आप इसे बचाना सीख गए तो आप अपने जीवन में सफल व्यक्ति बनने योग्य होंगे। उसी तरह धन को बेफजुल खर्च करने पर आप का जीवन बर्बाद हो सकता है। दिन और रात में कुल
24 होते है जिनमे में से ज्यादातर कम से कम सात घंटे सोते है। बाकि
17 घंटो में से इंसान कम से कम तीन घंटे स्नान, ध्यान, भोजन अन्य नित्यकर्मों में व्यस्त कर देते है। बचे
14 घंटे। यदि तुम ऑफिस जाते हैं तो
10 घंटे उसमें से माईनस कर दे । इसका मतलब आप आपलं परिवार के लिए मात्र 4
घंटे रखते हो। जरूरी है कि आप कोई योजना ऐसी बनाएं जिससे आप अपने लक्ष्य को आसानी से तय कर सकते हो ।
9. आत्मरक्षा के खेल और योग सीखें: दोस्तों आत्मरक्षा के खेल, कराटे, कुंफू, मार्शल आर्ट, पहलवानी, लट्ठ चलाना आदि होते है इसी तरह खेल इंसान के जीवन में बहुत उपयोगी होते हैं। इन खेलो से इंसान का आत्मविश्वास और साहस बढ़ता है। दूसरी भाषा में, योग एक ऐसी कला है जो मनुष्य को पूर्णरूप से फीट रखती है। जो इंसान योग करता है उसका शरीर किसी भी मौसम और परिस्थिति में रह सकने के लिए तैयार रहता है। यह दोनों ही तरह की कला इंसान के लिए बहुत फायदेमंद होती है, जीवन में सफल व्यक्ति बनने के लिए।
10 कुछ बनाना सीखें: यदि आपको अपने जीवन में योग्य इंसान बनना है तो कुछ बनाना सीखें। इसका मतलब है कि जीवन में कोई ऐसा हुनर हासिल करें जिससे तुम्हे रोजगार आसानी से मिल जाय। आज के समय में ज़्यदातर लोग सॉफ्टवेयर या एप बनाते हैं तो कुछ लोग औषधी की खेती करने का प्रयास रहे हैं। आपको भी अपनी रुचि के अनुसार कोई ऐसा काम सीखना चाहिए जो बाजार में प्रचलित हो और जिससे परिवार औरअपने ख़र्च से ज्यादा सके। सिर्फ डीग्री ही हुनर नहीं होती तुम स्किल से भी अपनी मंजिल हासिल कर सकते हो और अपना खुद का रोजगार भी पैदा कर सकते हो।
दोस्तों सबसे पहले इस आर्टिकल को बहुत ध्यान से पढ़े और फिर इन सभी कामो को सीखे। अगर आप इन सभी कामो को अच्छे से जानते हो अर्थात इनके बारे में पूर्णरूप से जानकारी है तो तुम अपने जीवन के हर क्षेत्र में एक सफल इंसान आसानी से बन सकते हो.
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